यौन संचारित संक्रमण (एसटीआई) के बारे में महत्वपूर्ण जानकारी

किसी भी व्यक्ति में यौन संचारित संक्रमण (यौन संचारित रोग) एक गंभीर स्थिति है। जो एसटीआई से ग्रसित किसी महिला या पुरुष से यौन संबंध बनाने के बाद विकसित होती है। यौन संचारित रोग की शुरुआत यौन संचारित संक्रमण से होती हैं। एसटीआई को यौन रोग, गुप्त रोग और रतिरोग के नाम से भी जाना जाता है।

यौन रोग, यौन संपर्क, असंक्रमित इंजेक्शन की सुइयों से फैलते हैं, इसके अलावा कई एसटीआई संभोग किए बिना भी फैल सकते हैं। एसटीडी किसी को भी हो सकता है, भले ही व्यक्ति का यौन रुझान या स्वच्छता के मापदंड कुछ भी हो।

यौन संचारित संक्रमणों (क्लैमाइडिया, हर्पीज, गोनोरिया और सिफलिस) के उपचार इनके प्रकार पर निर्भर हो सकते हैं। इसके लक्षणों में जननांग के आसपास खुजली और जलन शामिल है।

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अधिकांश एसटीआई/एसटीडी उपचार के बाद ठीक हो सकते हैं, लेकिन सभी प्रकार के नहीं। याद रखें! यौन संचारित रोग ठीक होने के बाद भी यह आपको दोबारा हो सकता है।

यह लेख कुछ सामान्य यौन संचारित संक्रमण पर चर्चा करता है, उन्हें कैसे रोका जाए और मदद कब लेनी चाहिए।

यौन संचारित संक्रमण (यौन संचारित रोग) क्या है?

यौन संचारित रोग (एसटीडी) यौन संचारित संक्रमण (एसटीआई) के कारण होते हैं, यह कई प्रकार के होते हैं। जो बैक्टीरिया, वायरस या परजीवी के कारण होते हैं और मुख्य रूप से मुँह, गुदा, योनि या लिंग से जुड़ी किसी भी प्रकार की यौन गतिविधि से फैलते हैं।

यौन संचारित रोग रक्त, वीर्य या योनि से निकलने वाले स्राव से एक व्यक्ति से दूसरे व्यक्ति में आसानी से फैल सकता है।

कभी-कभी यौन संचारित संक्रमण यौन संपर्क के अलावा अन्य तरीकों से भी फैलते हैं – जैसे गर्भावस्था या प्रसव के दौरान माता से शिशुओं में, रक्त चढ़ाने से भी फैल सकता है।

यौन संचारित रोग के सबसे आम लक्षण आपके जननांग क्षेत्र में जलन, खुजली या स्राव हैं। कुछ एसटीआई लक्षणहीन भी हो सकते हैं।

यौन संचारित संक्रमण अत्यधिक संक्रामक होते हैं। यदि आप यौन रूप से अत्यधिक सक्रिय हैं, तो आपको बिना पता चले भी एसटीआई हो सकता है। इसीलिए रोग नियंत्रण और रोकथाम केंद्र (सीडीसी) नियमित एसटीआई की जांच या परीक्षण की सिफारिश करता है।

एसटीडी गंभीर बीमारियाँ हैं, जिनके उपचार की आवश्यकता होती है। कुछ, जैसे एड्स (एचआईवी) का कोई इलाज नहीं है और उपचार के बिना जीवन के लिए खतरा हो सकता है।

एसटीआई बनाम एसटीडी

क्या आप जानते हैं, कि यौन संचारित संक्रमण (एसटीआई) और यौन संचारित रोग (एसटीडी) के बीच अंतर है?

  • एसटीडी हमेशा एसटीआई के रूप में शुरू होते हैं। प्रारंभिक संक्रमण तब होता है, जब बैक्टीरिया, वायरस या परजीवी शरीर में घुसपैठ करते हैं।
  • यदि परजीवी सामान्य प्रक्रियाओं को बाधित करना शुरू कर दें, तो एसटीआई एक बीमारी बन सकती है और आमतौर पर तब से लक्षण दिखाई देना शुरू हो जाते हैं।
  • एसटीडी के उदाहरणों में पेल्विक सूजन रोग (पीआईडी) है, जो अनुपचारित क्लैमाइडिया या गोनोरिया संक्रमण के परिणामस्वरूप होता है, और गर्भाशय ग्रीवा कैंसर, जो मानव पैपिलोमावायरस (एचपीवी) के कारण हो सकता है।
  • याद रखें, सभी एसटीआई एसटीडी नहीं बनेंगे, भले ही उनका इलाज न किया जाए।

यौन संचारित संक्रमण कितने आम हैं?

दुनिया भर में प्रतिदिन 15-49 वर्ष की आयु के 10 लाख से अधिक लोगों को उपचार योग्य यौन संचारित संक्रमण होते हैं, जिनमें से अधिकांश लक्षणविहीन होते हैं।

2020 में, WHO ने अनुमानित 374 मिलियन लोगों में नए संक्रमण पाए गये, जिनमें 4 में से 1 को इलाज योग्य एसटीआई थे: क्लैमाइडिया (129 मिलियन), गोनोरिया (82 मिलियन), सिफलिस (7.1 मिलियन) और ट्राइकोमोनिएसिस (156 मिलियन)।

2016 में 490 मिलियन से ज़्यादा लोगों के जननांग दाद और 300 मिलियन महिलाओं को HPV संक्रमण होने का अनुमान है, जो पुरुषों के साथ यौन संबंध बनाने वाली महिलाओं में सर्वाइकल कैंसर और गुदा कैंसर का मुख्य कारण है।

यौन संचारित रोग (एसटीडी) यौन और प्रजनन स्वास्थ्य पर एक धब्बा है, जिसका बांझपन, कैंसर और गर्भावस्था संबंधी जटिलताओं के माध्यम से सीधा प्रभाव पड़ता है और इससे एचआईवी का खतरा बढ़ सकता है।

दुनिया भर में यौन संचारित रोगों के बोझ को कम करने में दवा प्रतिरोध एक बड़ा खतरा है।

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यौन संचारित संक्रमण के प्रकार क्या हैं?

कुल मिलाकर, किसी भी यौन संक्रमण को एसटीआई (STI) की श्रेणी में रखा जाता है, यदि वह मुख्य रूप से यौन संपर्क के माध्यम से फैलता है। यदि तुरंत इलाज किया जाए, तो अधिकांश एसटीआई के एसटीडी बनने की संभावना नहीं रहती है।

एसटीआई (STI) के सबसे आम प्रकारों में निम्न शामिल हैं:

  • क्लैमाइडिया (Chlamydia)
  • जननांग परिसर्प (Genital Herpes)
  • जननांग मस्सा (Genital Warts)
  • सूजाक (Gonorrhoea)
  • हेपेटाइटिस बी (Hepatitis B)
  • एचआईवी/एड्स (HIV/AIDS)
  • ह्यूमन पेपिलोमावायरस (एचपीवी) (Human Papillomavirus)
  • प्यूबिक जूँ (Pubic Lice)
  • सिफलिस (Syphilis)
  • ट्राइकोमोनिएसिस (Trichomoniasis)
  • योनिशोथ (Vaginitis)

यौन संचारित संक्रमण के लक्षण क्या हैं?

यौन संचारित रोग के लक्षण हल्के से लेकर गंभीर तक हो सकते हैं – और वे शरीर के विभिन्न हिस्सों को प्रभावित कर सकते हैं।

प्रारंभिक संक्रमण के बाद, लक्षण दिखने में दिन, सप्ताह, महीने या साल भी लग सकते हैं।

लेकिन क्लैमाइडिया और हेपेटाइटिस बी जैसे कुछ एसटीआई के लिए लक्षण रहित होना भी आम बात है। इसका मतलब यह है, कि लोगों को इसका तनिक भी आभास नहीं होता है, कि वह इससे ग्रसित हैं।

यहां एसटीआई के कुछ मुख्य लक्षण बताए गए हैं, जिनसे आपको सावधान रहना चाहिए:

  • पेशाब करते समय या सेक्स करते समय दर्द होना, क्लैमाइडिया और गोनोरिया से लेकर जननांग दाद तक का संकेत हो सकता है।
  • गहरे रंग का मूत्र, जोड़ों और मांसपेशियों में दर्द होना हेपेटाइटिस बी का संकेत हो सकता है।
  • योनि, लिंग या गुदा से असामान्य स्राव होना क्लैमाइडिया, गोनोरिया और ट्राइकोमोनिएसिस का संकेत हो सकता है।
  • जननांगों के आसपास खुजली होना जननांग दाद और जघन जूँ के कारण हो सकती है।
  • पीरियड्स के बीच या सेक्स के बाद रक्तस्राव होना क्लैमाइडिया के आम लक्षणों में से एक है।
  • पेल्विक और अंडकोष में दर्द होना क्लैमाइडिया का संकेत हो सकता है।
  • जननांगों के आसपास छोटे छाले या घाव होना सिफलिस और जननांग दाद के संभावित लक्षण हैं।

यह समझना महत्वपूर्ण है, कि इनमें से अधिकांश लक्षण अन्य स्थितियों के लक्षण हो सकते हैं और इन्हें आसानी से विभिन्न स्वास्थ्य समस्याओं के रूप में समझा जा सकता है।

यदि आपको संदेह है, कि आप यौन संचारित संक्रमण के संपर्क में आ गए हैं, तो डॉक्टर से इस बारे में परामर्श करें।

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यौन संचारित संक्रमण का क्या कारण है?

यौन संचारित संक्रमण तब विकसित होते हैं, जब विभिन्न बैक्टीरिया, वायरस या परजीवी आपके शरीर को संक्रमित करते हैं।

ये सूक्ष्मजीव सेक्स के दौरान रक्त, मूत्र, वीर्य और लार के जरिए शरीर में प्रवेश कर सकते हैं – आमतौर पर योनि, मौखिक और गुदा सेक्स या अन्य यौन गतिविधियों के दौरान।

यौन संचारित संक्रमण निम्नलिखित कारणों से हो सकते हैं:

  • बैक्टीरिया – गोनोरिया, सिफलिस और क्लैमाइडिया ऐसे यौन संचारित रोग हैं, जो बैक्टीरिया के कारण होते हैं।
  • परजीवी – ट्राइकोमोनिएसिस वेजिनेलिस एक यौन संचारित रोग है, जो परजीवी के कारण होता है।
  • वायरस – वायरस के कारण होने वाले यौन संचारित रोगों में ह्यूमन पेपिलोमावायरस (एचपीवी), हर्पीज सिम्प्लेक्स वायरस और ह्यूमन इम्यूनोडेफिशिएंसी वायरस (एचआईवी) शामिल हैं, जो एड्स का कारण बनता है।

ये कारण मुख्य रूप से सेक्स के दौरान रक्त, मूत्र, वीर्य और लार के जरिए शरीर में प्रवेश कर सकते हैं। इसमें योनि, मौखिक और गुदा सेक्स शामिल है।

लेकिन, कुछ यौन रोगों को त्वचा के संपर्क मात्र से एक व्यक्ति से दूसरे व्यक्ति में संचारित किया जा सकता है – जैसे, अपने साथी के जननांगों को छूना।

हालाँकि, कोई भी एसटीआई से संक्रमित हो सकता है, शोध से पता चलता है, कि जो पुरुष अन्य पुरुषों के साथ यौन संबंध रखते हैं, वे सबसे बड़े जोखिम में हैं।

क्या यौन संचारित संक्रमण संक्रामक होते हैं?

हाँ, यौन संचारित संक्रमण (यौन संचारित रोग) संक्रामक होते हैं। अधिकांश एसटीआई यौन संपर्क से या किसी संक्रमित व्यक्ति के जननांगों को छूने से या त्वचा से त्वचा का संपर्क होने से फैलता है।

कुछ एसटीआई, जैसे कि सिफ़िलिस, बच्चे को जन्म देते समय फैल सकते हैं।

यौन संचारित संक्रमणों के जोखिम कारक क्या हैं?

यौन संचारित संक्रमणों से खुद को बचाने के लिए आप कई चीज़ें कर सकते हैं। मुख्य जोखिम कारकों के बारे में जागरूक होने से आप उन्हें नियंत्रित कर सकते हैं।

यदि आप यौन रूप से सक्रिय हैं, तो आपको यौन संचारित रोग विकसित होने या फैलने का खतरा होता है।

यौन संचारित संक्रमण होने के जोखिम को बढ़ाने वाले कारकों में शामिल हैं:

  • युवा होना – एसटीडी से पीड़ित सभी लोगों में से लगभग 50% 15 से 24 वर्ष की आयु के बीच के हैं। आपकी पहली यौन क्रिया जितनी कम उम्र में होगी, यौन संचारित रोगों से संक्रमित होने का जोखिम उतना ही अधिक होगा।
  • महिलाएँ – लक्षणहीन यौन रोगों से संक्रमित एक पुरुष यौन संबंध के दौरान से महिला की योनि में प्रवेश कर जाते हैं। इस तरह से, पुरुष महिलाओं को यौन संचारित संक्रमण अधिक आसानी से फैलाते हैं, जबकि महिलाएं भी पुरुषों को ऐसे ही फैलाती हैं। गर्भवती महिलाओं को कुछ एसटीडी से भ्रूण को नुकसान पहुँचने का जोखिम होता है।
  • लैंगिकता – समलिंगी और उभयलिंगी पुरुष, या अन्य पुरुष जो पुरुषों के साथ यौन संबंध बनाने वाले पुरुषों में एसटीडी होने की संभावना अधिक होती है , जिससे संक्रमित होने का जोखिम बढ़ जाता है।
  • असुरक्षित यौन संबंध – कंडोम पहने बिना संक्रमित साथी के साथ योनि या गुदा मैथुन करना, यौन संचारित रोग होने का जोखिम बहुत अधिक बढ़ा देता है। कंडोम का सही तरीके से इस्तेमाल न करना या इस्तेमाल न करना भी जोखिम को बढ़ा सकता है।
  • यौन रोगों का इतिहास – एक एसटीआई होने से आप अक्सर अन्य एसटीआई द्वारा संक्रमित होने के लिए अधिक संवेदनशील हो जाते हैं। एसटीडी होने से आपको भविष्य में किसी अन्य एसटीडी से संक्रमित होने का अधिक खतरा होता है।
  • एक से अधिक यौन साथी – आपके जितने अधिक यौन साथी होंगे, उतनी ही अधिक संभावना है, कि आप यौन संचारित संक्रमण के संपर्क में आएंगे। जितने ज़्यादा लोगों के साथ आप यौन क्रियाकलाप करते हैं, आपका जोखिम उतना ही ज़्यादा होता है।
  • सीरियल मोनोगैमी – सीरियल मोनोगैमी व्यक्ति एक समय पर केवल एक ही व्यक्ति को डेट करते हैं, लेकिन फिर भी बड़ी संख्या में लोगों को डेट करते हैं। इसे सीरियल मोनोगैमी कहा जाता है। सीरियल मोनोगैमी वाले लोगों के लिए खतरा यह है, कि हर बार जब वे किसी “विशिष्ट” यौन संबंध में शामिल होते हैं, तो वे सुरक्षित सेक्स सावधानियों के बिना सेक्स करने के लिए लुभाए जा सकते हैं।
  • शराब का सेवन – शराब पीना आपके यौन स्वास्थ्य के लिए कई अलग-अलग तरीकों से बुरा हो सकता है। शराब संकोच को कम करती है, ऐसे में वे किसी के साथ भी यौन संबंध बनाना चाह सकते हैं। यह यौन साथी को कंडोम के उपयोग के लिए राजी करना भी अधिक कठिन बना सकता है।
  • नशीली दवाओं का सेवन – जो लोग नशीली दवाओं के प्रभाव में यौन संबंध बनाते हैं, वे जोखिम भरे यौन व्यवहार में शामिल होने की अधिक संभावना रखते हैं, जैसे कि कंडोम के बिना सेक्स करना या अन्य प्रकार की सुरक्षा के बिना सेक्स करना।
  • सेक्स वर्कर – जो लोग पैसे के लिए देह व्यापार करते हैं, वे सुरक्षित सेक्स के लिए पर्याप्त रूप से सजग नहीं हो सकते हैं। और इस तरह से एक सेक्स वर्कर के सामान्य लोगों की तुलना में एसटीआई से पीड़ित होने की संभावना कहीं अधिक होती है।
  • सुई साझा करना – नशीली दवाओं के इंजेक्शन के लिए एक ही सुई का इस्तेमाल कई लोगों द्वारा किये जाने से एचआईवी, हेपेटाइटिस बी और हेपेटाइटिस सी जैसे गंभीर संक्रमण फैलने का जोखिम हो सकता है।
  • ओरल सेक्स – कई एसटीआई (हर्पीस, जननांग मस्से, गोनोरिया, क्लैमाइडिया, सिफलिस) ओरल सेक्स के दौरान फैलने का खतरा हो सकता है, भले ही जोखिम गुदा या योनि संसर्ग से होने वाले जोखिम से कम हो।
  • सेक्स टॉय – यौन संबंध के दौरान इस्तेमाल किए जाने वाले खिलौनों या सामग्री को साझा करने से भी कुछ यौन संचारित संक्रमण के होने का जोखिम होता है।
  • माताओं से शिशुओं में फैलना – गर्भावस्था या प्रसव के दौरान, कुछ यौन संचारित संक्रमण (गोनोरिया, क्लैमाइडिया, एचआईवी और सिफलिस) माँ से शिशु में फैल सकते हैं। शिशुओं में एसटीआई गंभीर समस्याएँ या यहाँ तक कि मृत्यु का कारण बन सकते हैं।

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यौन संचारित संक्रमणों की जटिलताएँ क्या हैं?

यदि यौन संचारित संक्रमण को अनुपचारित छोड़ दिया जाए, तो एसटीआई गंभीर स्वास्थ्य समस्याएँ पैदा कर सकता है। समय के साथ, गंभीर और कभी-कभी जीवन को बदल देने वाली जटिलताएँ विकसित हो सकती हैं।

अनुपचारित एसटीआई से होने वाली सामान्य जटिलताओं में निम्नलिखित शामिल हैं:

  • महिलाओं में बांझपन, गर्भावस्था संबंधी जटिलताएँ या गर्भाशय ग्रीवा के कैंसर का उच्च जोखिम हो सकता है।
  • गोनोरिया, अगर इलाज न किया जाए, तो रक्त प्रवाह के माध्यम से जोड़ों और हृदय वाल्वों तक फैल सकता है।
  • गोनोरिया और क्लैमाइडिया दोनों नवजात शिशुओं में आँखों के संक्रमण का कारण बन सकते हैं जो प्रसव के दौरान बैक्टीरिया के संपर्क में आए थे।
  • अगर सिफलिस का इलाज नहीं किया जाता है, तो यह अंततः हड्डियों, हृदय, आँखों, मस्तिष्क, गुर्दे और तंत्रिका तंत्र को गंभीर नुकसान पहुँचा सकता है।
  • हेपेटाइटिस बी से लंबे समय तक लीवर को नुकसान हो सकता है और लीवर कैंसर विकसित होने का जोखिम बढ़ सकता है।
  • एचआईवी व्यक्ति की प्रतिरक्षा प्रणाली को कमजोर करता है, जिससे उन्हें कई अलग-अलग संक्रमणों का खतरा होता है।
  • वायरस के संपर्क में आने पर चैनक्रॉइड व्यक्ति को एचआईवी संक्रमण के प्रति अधिक संवेदनशील बनाता है।
  • गर्भावस्था के अंत में एक सक्रिय हर्पीज संक्रमण के लिए बच्चे को संक्रमण फैलने से बचाने के लिए सिजेरियन सेक्शन द्वारा प्रसव की आवश्यकता होगी।
  • जननांग दाद मूत्राशय की समस्याएँ और मेनिन्जाइटिस के संक्रमण का कारण बन सकते हैं।
  • एचपीवी गर्भाशय ग्रीवा कैंसर, गुदा कैंसर और लिंग कैंसर विकसित होने का जोखिम बढ़ सकता है।

अनुपचारित एसटीआई होने से दूसरों को संक्रमण फैलाने का आपका जोखिम बढ़ जाता है। भले ही आप कंडोम का उपयोग करें और सुरक्षित सेक्स करें, फिर भी संक्रमण का जोखिम महत्वपूर्ण बना रहता है।

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यौन संचारित संक्रमणों का निदान कैसे करते हैं?

यदि आप यौन रूप से सक्रिय हैं, तो एसटीडी का निदान आपके यौन इतिहास और वर्तमान लक्षणों से शुरू होता है। यदि आपको एसटीडी के संकेत मिलते हैं, तो डॉक्टर शारीरिक परीक्षण और अन्य परीक्षण के बाद आपके यौन संचारित संक्रमण (यौन संचारित रोग) का निदान करेगा।

आपका डॉक्टर आपके लक्षणों (दाने, मस्से या स्राव) को देखने के बाद आपकी चिकित्सा और यौन इतिहास के बारे में पूछेगा – उत्तर ईमानदारी से दें।

डॉक्टर यह पता लगाने के लिए परीक्षण और जांच कर सकता है, कि क्या आपको एसटीआई है या कोई अन्य स्थिति है।

परीक्षण

डॉक्टर आपके लक्षणों की समीक्षा करने के बाद कारण निर्धारित करने के लिए कुछ परीक्षणों की सिफारिश करेगा।

प्रत्येक प्रकार के एसटीआई के लिए अलग-अलग परीक्षण होते हैं। आपको किस परीक्षण की आवश्यकता है, यह आपका डॉक्टर आपको बताएगा।

एसटीआई परीक्षण में निम्न शामिल हो सकते हैं:

  • रक्त परीक्षण – रक्त परीक्षण के द्वारा एचआईवी का पता चल सकता है और सिफलिस के बाद की अवस्था की भी पुष्टि हो सकती है।
  • मूत्र के नमूने – मूत्र के नमूने से कुछ एसटीडी की पुष्टि की जा सकती है।
  • खुले घाव के नमूने – यदि आपके जननांगों पर खुले घाव हैं, तो आपका डॉक्टर उन घावों के नमूने का परीक्षण करके संक्रमण के प्रकार का निदान कर सकता है।

स्क्रीनिंग

जबएसटीडी या यौन संचारित संक्रमण आशंका के लिए किसी व्यक्ति के होने वाले परीक्षण को स्क्रीनिंग कहते हैं। अधिकांशतः, एसटीआई जांच स्वास्थ्य देखभाल का नियमित हिस्सा नहीं होती है।

लेकिन, जब किसी व्यक्ति में यौन संचारित रोग होने का संदेह होता है, तो डॉक्टर स्क्रीनिंग का सुझाव दे सकता है।

विशेषज्ञ निम्नलिखित के लिए एसटीआई स्क्रीनिंग की सलाह देते हैं:

लगभग हर कोई कम से कम एक बार – दिशा-निर्देश 15 से 65 वर्ष की आयु के सभी लोगों के लिए एचआईवी, एड्स और हेपेटाइटिस बी, सी का कारण बनने वाले वायरस के लिए रक्त या लार की स्क्रीनिंग का सुझाव देते हैं।

गर्भवती महिलाएं – सभी गर्भवती महिलाओं की आमतौर पर गर्भावस्था के आरंभ में एचआईवी, गोनोरिया, हेपेटाइटिस बी, क्लैमाइडिया और सिफलिस के लिए जांच करवानी चाहिए।

21 वर्ष और उससे अधिक आयु की महिलाएं – पैप टेस्ट गर्भाशय ग्रीवा की कोशिकाओं में होने वाले परिवर्तनों की जांच करता है, जैसे सूजन और जलन, जिसे सूजन, कैंसर-पूर्व परिवर्तन और कैंसर भी कहा जाता है। कुछ HPV वायरस प्रायः गर्भाशय-ग्रीवा कैंसर का कारण बनते हैं।

25 वर्ष से कम आयु की महिलाएँ जो यौन रूप से सक्रिय हैं – विशेषज्ञ सलाह देते हैं, कि 25 वर्ष से कम आयु की सभी यौन रूप से सक्रिय महिलाओं को क्लैमाइडिया संक्रमण के लिए परीक्षण करवाना चाहिए।

अनुपचारित या कम उपचार वाले साथी – यदि आपका क्लैमाइडिया संक्रमण के लिए उपचार किया गया है, तो आपको लगभग तीन महीने बाद पुनः परीक्षण करवाना चाहिए। क्योंकि, अनुपचारित या आधे उपचारित साथी द्वारा पुनः संक्रमण होना आम बात है

पुरुष जो पुरुषों के साथ यौन संबंध रखते हैं – अन्य समूहों की तुलना में, पुरुषों के साथ यौन संबंध रखने वाले पुरुषों को यौन संचारित संक्रमण होने का अधिक जोखिम होता है।

एचआईवी वाले लोग – एचआईवी होने से अन्य यौन संचारित रोग होने का जोखिम बढ़ जाता है। विशेषज्ञ एचआईवी का निदान होने के तुरंत बाद सिफलिस, गोनोरिया, क्लैमाइडिया और हर्पीज के लिए परीक्षण की सलाह देते हैं। महिलाएं हर तीन साल में पैप परीक्षण करवा सकती हैं।

जिन लोगों का नया साथी है – नए भागीदारों के साथ योनि या गुदा मैथुन करने से पहले, सुनिश्चित करें, कि आप दोनों ने एसटीडी का परीक्षण कराया है। हालांकि, विशेषज्ञ जननांग दाद के लिए नियमित परीक्षण की सलाह नहीं देते हैं, जब तक कि आपको लक्षण न दिखें।

यौन संचारित संक्रमण से संक्रमित होना भी संभव है, फिर भी नकारात्मक परीक्षण हो सकता है, जो कि सबसे आम है यदि आप हाल ही में संक्रमित हुए हैं।

यौन संचारित रोग का इलाज कैसे करते हैं?

एसटीडी का इलाज कारणों के आधार पर अलग-अलग तरीकों से किया जा सकता है।

बैक्टीरिया के कारण होने वाले यौन संक्रमणों का इलाज आम तौर पर आसान होता है।

जबकि, वायरस के कारण होने वाले एसटीआई का उपचार किया जा सकता है, लेकिन इसे हमेशा ठीक नहीं किया जा सकता।

यदि गर्भवती स्त्री को कोई यौन संचारित रोग है, तो तुरंत उपचार कराने से शिशु के संक्रमित होने के जोखिम को रोका कम किया जा सकता है।

यौन संचारित संक्रमणों के उपचार में आमतौर पर संक्रमण के आधार पर निम्नलिखित में से एक होता है:

  • एंटीबायोटिक्स – एंटीबायोटिक्स, अक्सर एक ही खुराक में, बैक्टीरिया या परजीवियों के कारण होने वाले कई एसटीआई को ठीक कर सकते हैं, जैसे कि गोनोरिया, सिफलिस, क्लैमाइडिया और ट्राइकोमोनिएसिस। इसके अलावा, एंटीबायोटिक उपचार पूरा होने और किसी भी घाव के ठीक होने के सात दिन बाद तक यौन गतिविधि से बचना महत्वपूर्ण है।
  • एंटीवायरल दवाएँ – यदि आपको हर्पीज या एचआईवी है, तो आपका डॉक्टर ऐसी दवा लिख सकता है, जो वायरल संक्रमण को और खराब होने से रोकती है, जिसे एंटीवायरल दवा कहते हैं। एंटीवायरल दवाएँ एचआईवी संक्रमण को कई सालों तक नियंत्रण में रख सकती हैं।

यदि आपको यौन संचारित संक्रमण हुआ है, तो अपने डॉक्टर से पूछें, कि उपचार के कितने समय बाद आपको फिर से जांच करानी होगी। पुनः परीक्षण कराने से यह सुनिश्चित हो जाएगा कि उपचार सफल रहा है और आप पुनः संक्रमित नहीं हुए हैं।

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यौन संचारित संक्रमणों के प्रति क्या दृष्टिकोण होना चाहिए?

अधिकांश यौन संचारित संक्रमण (यौन संचारित रोग) उपचार के बाद ठीक हो जाते हैं। एचआईवी जैसी स्थितियों में आजीवन देखभाल और उपचार की आवश्यकता हो सकती है।

यदि आप इससे दोबारा संक्रमित हो जाते हैं, तो इसके ठीक होने के बाद आपमें वही एसटीआई विकसित हो सकता है।

जिन लोगों को एसटीआई का निदान मिलता है, उन्हें शर्मिंदगी या अपराधबोध महसूस हो सकती है। लेकिन, यौन संचारित संक्रमण तो किसी को भी हो सकता है।

यदि आप अपने एसटीआई निदान को लेकर चिंता या तनाव का अनुभव कर रहे हैं, तो भावनात्मक सहायता के लिए किसी मित्र, प्रियजन से बातचीत करें।

मुझे डॉक्टर से कब मिलना चाहिए?

यदि आप देखते हैं, कि आपमें या आपके साथी में एसटीआई के लक्षण हैं, तो किसी यौन रोग विशेषज्ञ से मिलें। यदि आप यौन रूप से सक्रिय हैं, तो आपको नियमित रूप से वार्षिक आधार पर एसटीआई परीक्षण करवाना चाहिए।

यौन संचारित संक्रमण से बचाव कैसे करें?

यौन संचारित संक्रमणों के जोखिम को कम करने का एकमात्र तरीका सेक्स से दूर रहना (सेक्स न करना) है।

यदि आप यौन रूप से सक्रिय हैं, तो आप निम्न बातों को ध्यान अवश्य रखें:

  • कंडोम का प्रयोग करें – जब भी आप किसी नये साथी के साथ किसी भी प्रकार का सेक्स करें तो कंडोम का उपयोग अवश्य करें। यदि आपकी या आपके साथी की योनि संक्रमित है, तो ओरल सेक्स के लिए डेंटल डैम का उपयोग करें।
  • संक्रमित सेक्स पार्टनर से बचें – यदि आपको संदेह है, कि आपका साथी एसटीआई से संक्रमित है, तो सेक्स का ख्याल दिल से निकाल दें या सुरक्षित तरीका अपनाएं।
  • नियमित रूप से एसटीआई की जांच कराएं – ऐसा करने से एसटीआई को अन्य लोगों में फैलने से रोकने में मदद मिलती है। नए सेक्स पार्टनर के साथ पहली बार सेक्स करने से पहले टेस्ट करवाने को कहें।
  • शराब या नशीली दवाओं से बचें – सेक्स करने से पहले शराब या नशीली दवाओं के सेवन से बचें। क्योंकि, इसके प्रभाव में लोग सुरक्षा सावधानी बरते बिना यौन गतिविधियों में संलग्न हो सकते हैं।
  • एसटीआई के लक्षणों को पहचानें – यदि आपको किसी भी यौन रोग के लक्षण दिखाई देते हैं, तो तुरंत किसी डॉक्टर से मिलें।
  • एसटीआई के बारे में जानकारी बढ़ाएं – यौन संचारित संक्रमणों के बारे में आप जितना अधिक जानेंगे, उतने ही बेहतर तरीके से खुद की और अपने सहयोगियों को सुरक्षित कर सकते हैं।

Last but not Least…

यौन संचारित संक्रमण आम हैं। यदि आप अपने जननांगों के आसपास असहज जलन या खुजली महसूस करते हैं या एसटीआई का कोई लक्षण महसूस करते हैं, तो किसी डॉक्टर से बात करें।

अधिकांश यौन संचारित रोगों का उपचार किया जा सकता है, भले ही वे ठीक न हों। एंटीबायोटिक्स आमतौर पर संक्रमण का सफलतापूर्वक इलाज कर सकते हैं। अधिकांशतः, आप एसटीआई को दीर्घकालिक जटिलताओं के बिना ठीक कर सकते हैं।

जहां तक संभव हो रोकथाम की जाए तथा नियमित जांच कराई जाए ताकि यह सुनिश्चित किया जा सके कि किसी भी संक्रमण का तुरंत उपचार किया जा सके।

कुछ मामलों में, जैसे एचआईवी के मामले में, आपको आजीवन उपचार की आवश्यकता हो सकती है।

यदि आपको कोई भी लक्षण महसूस हो, चाहे वह कितना भी मामूली क्यों न हो, किसी योग्य डॉक्टर से चिकित्सा सलाह लेना महत्वपूर्ण है।

 

 

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Disclaimer

इस लेख के माध्यम से दी गई जानकारी, बीमारियों और स्वास्थ्य के बारे में लोगों को सचेत करने हेतु हैं। किसी भी सलाह, सुझावों को निजी स्वास्थ्य के लिए उपयोग में लाने से पहले हमेशा अपने चिकित्सक की सलाह अवश्य लें।

 

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Ashok Kumar
Ashok Kumar

नमस्कार दोस्तों,
मैं एक Health Blogger हूँ, और स्वास्थ्य से जुड़े मुद्दों के बारे में शोध-आधारित लेख लिखना पसंद करता हूँ, जो शिक्षाप्रद होने के साथ प्रासंगिक भी हों। मैं अक्सर Health, Wellness, Personal Care, Relationship, Sexual Health, और Women Health जैसे विषयों पर Article लिखता हूँ। लेकिन मेरे पसंदीदा विषय Health और Relationship से आते हैं।

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